एक युद्ध नशे के विरूद्ध, बाल आयोग ने मांगा पुलिस विभाग का सहयोग
लखनऊ। उत्तर प्रदेश राज्य बाल संरक्षण आयोग युवाओं को नशे से बचाने के लिए ‘एक युद्ध नशे के विरूद्ध’ अभियान चला रहा है। उत्तर प्रदेश राज्य बाल संरक्षण आयोग के अध्यक्ष डा. देवेन्द्र शर्मा और आयोग के सदस्य श्याम त्रिपाठी ने उत्तर प्रदेश के डीजीपी देवेन्द्र सिंह चौहान से मिलकर इस अभियान में पुलिस विभाग का सहयोग मांगा है।
डा. देवेन्द्र शर्मा ने माल एवेन्यू स्थित आयोग के कार्यालय में आयोजित प्रेसवार्ता को संबोधित किया। उन्होंने बताया कि आयोग के सदस्यों ने प्रदेश के कई जनपदों का दौरा किया है। इस दौरान निरीक्षण में अधिकांश स्थानों पर यह देखा गया कि स्कूल के नजदीक ही तम्बाकू,सिगरेट व नशीली दवाओं की बिक्री हो रही है।
बाल संरक्षण आयोग ने मांग की है कि महिला एवं बाल सुरक्षा संगठन से राज्य स्तरीय नोडल अधिकारी नामित किये जायें ताकि बच्चों को बाल तस्करी,बाल श्रम और बाल भिक्षावृत्ति से बचाया जा सके। इसके अलावा खोया-पाया पोर्टल अपडेट करने और पाक्सो अधिनियम 2012 के अनुसार पाक्सो के केसों में जांच अधिकारी 60 दिन के अन्दर विवेचना पूरी करने को कहा गया है। बाल आयोग के सदस्य श्याम त्रिपाठी ने बताया कि बाल श्रम और बाल भिक्षावृत्ति से रेस्क्यू के दौरान स्थानीय पुलिस का सहयोग अपेक्षित है। एक युद्ध नशे के विरूद्ध पर सभी जिलाधिकारियों को गाइड लाइन जारी की गयी है। इसमें पुलिस विभाग का सहयोग भी अपेक्षित है।